वन विभाग ने मारी रेड तो दूसरे की जमीन पर लगा रखी थी मशीन, फिर एक्शन में आई टीम

शनिवार को वन विभाग ने चाकघाट अंतर्गत एक गांव में दबिश दी। यहां एक दबंग दूसरे के जमीन पर अवैध तरीके से आरा मशीन लगा रखा था। आरा मशीन संचालित की जा रही थी। अवैध तरीके से लकडिय़ों की चिराई की जा रही थी। मुखबिर की सूचना पर मौके पर पहुंची वन विभाग की टीम ने एक्शन लिया और आरा मशीन की उखाड़ कर ले गई। संचालक के खिलाफ मामला पंजीबद्ध किया गया है।

वन विभाग ने मारी रेड तो दूसरे की जमीन पर लगा रखी थी मशीन, फिर एक्शन में आई टीम

चाकघाट रेंज अंतर्गत बीट रायपुर के बसहट में पकड़ी गई अवैध आरा मशीन
रीवा। मिली जानकारी के अनुसार वन परिक्षेत्र चाकघाट बीट रायपुर अंतर्गत गांव बसहट में अवैध रूप से आरा मशीन संचालित की जा रही थी। इसकी सूचना मुखबिर से वन विभाग को मिली। इसके आधार पर वन परिक्षेत्र चाकघाट का वन अमला तत्काल आरा मशीन वाले स्थल पर पहुंचा। मौके पर पायागया कि कृपाशंकर विश्वकर्मा पिता झल्लर प्रसाद विश्वकर्मा बसहट गांव के जगदीश प्रसाद पाण्डेय की जमीन पर अवैध रूप से आरा मशीन का संचालन किया जा रहा है। इस मामले को संज्ञान में लेते हुए मप्र काष्ट चिरान विनियमन अधिनियम 1984 के तहत वन अपराध प्रकरण क्रमांक 202/ 18 फरवरी 2024 दर्ज किया गया। अवैध रूप से संचालित मशीन, डीजल इंजन और अन्य समस्त मशीनरी को जब्त कर कार्रवाई की गई। कार्रवाई में सुरेन्द्र रावत कार्यवाहक वनपाल, अशोक सोंधिया कार्यवाहक वनपाल, भीमसेन कोल कार्यवाहक वनपाल, कमलेश पटेल वनरक्षक, अरविंद शेखर वर्मा वनरक्षक, जोगेश्वर प्रसाद शुक्ला वनरक्षक तथा अन्य स्टाफ शामिल रहे।
ग्रामीण क्षेत्रों और वन क्षेत्रों में चोरी छिपे चल रही आरा मशीनें
रीवा में अवैध मशीनें का संचालन चोरी छिपे हो रहा है। रीवा शहर में भी लकडिय़ों के टॉल में अवैध तरीके से आरा मशीनों का संचालन किया जा रहा है। वन विभाग की मॉनीटरिंग में कमी के कारण ही ऐसी स्थितियां बन रही है। बार्डर से समीपवर्ती क्षेत्रों में अवैध कारोबार ज्यादा फल फूल रहा है। वन विभाग का मैदानी अमला सिर्फ कार्यालयों तक ही सिमटा हुआ है। प्रॉपर मॉनीटरिंग नहीं हो रही है। इसके कारण ही वन माफिया सक्रिय हैं।