विधानसभा में एवरेज रीडिंग और खराब ट्रांसफार्मर पर सरकार के ही विधायक घेरेंगे,आरडीएसएस योजना भी घिरी
रीवा के खराब ट्रांसफार्मर, एवरेज बिल और आरडीएसएस योजना की सुस्त चाल पर अधिकारी घिरेंगे। भाजपा के विधायकों ने भी सवाल लगाए हैं। अधिकारियों की मुश्किलें बढऩे वाली हैं। आउटसोर्स कंपनी और कर्मचारियों का भी मुद्दा विधानसभा में उठेगा।

REWA.विधानसभा में इस बार फिर से ऊर्जा विभाग की योजनाओं और कार्यों पर हंगामा मचेगा। सरकार के विधायकों ने ही विद्युत विभाग की आरडीएसएस योजना पर सवाल दागे हैं। आउटसोर्स कर्मचारियों के शोषण का मुद्दा भी गर्माएगा। सेमरिया विधायक ने तो 15 साल की योजनाओं का ही हिसाब मांग लिया है।
सेमरिया विधायक ने पूछा कितने योजना 15 सालों में बंद हो गईं
सेमरिया विधायक अभय मिश्रा ने अतारांकित प्रश्न क्रमांक 973 के तहत सवाल पूछे हैं। सेमरिया विधायक ने पूछा है कि राज्य सरकार द्वारा पिछले15 वर्षों में प्रशासनिक एवं लोकहित की कितनी योजनाओं का संचालन किया जा रहा है। विभागवार जानकारी देते हुये बतावें कि इन योजनाओं में कितनी राशि प्रत्येक वर्ष व्यय हो रही है। इनमें से कितनी ऐसी योजनाएं है जो 15 वर्ष पूर्व से संचालित है एवं कितनी ऐसी योजनाएं है जो पिछले 02 वर्ष में संचालित की गई। पूर्व में संचालित कितनी योजनाओं को बन्द कर नयी योजनाएं संचालित की गई । संचालित योजनाओं के क्रियान्वयन बावत प्रति वर्ष कितनी राशि किस योजना में व्यय की जा रही है । प्रति वर्ष बजट अनुसार दी गई राशि का किन-किन विभागों के द्वारा प्राप्त राशि का उपयोग कर हितग्राहियों को लाभान्वित किया गया। कितने ऐसे विभाग है जो राशि का पूरा उपयोग कर हितग्राहियों को लाभान्वित नहीं किया गया।
मऊगंज विधायक ने दो सवाल लगाए, एवरेज बिल और आरडीएसएस की मांगी जानकारी
मऊगंज विधायक प्रदीप पटेल ने विधानसभा में दो सवाल ऊर्जा विभाग से जुड़े हुए लगाए हैं। अतारांकित प्रश्न क्रमांक 1612 और दूसरा प्रश्न अतारांकित प्रश्न क्रमांक 1613 है। इसमें मऊगंज विधायक ने पूछा है कि क्या मऊगंज जिले में सभी घरों में इलेक्ट्रोनिक मीटर लगे है? अगर नहीं तो कब तक लग जायेंगे? क्या यह सच है कि उपभोक्ताओं को एवरेज बिजली बिल दिया जा रह। मीटर वाचक घर - घर जाकर हर माह रीडिंग नहीं लेते हैं। किसी उपभोक्ता के यहां ज्यादा एवरेज बिजली बिल आता है तो मीटर लगने के बाद क्या उसके बिल का समायोजन किया गया। अगर हां तो ऐसे कितने उपभोक्ता हैं जिनके बिल का समायोजन नहीं किया गया। उपभोक्तावार , गाँववार और शहरी क्षेत्रवार जानकारी मांगी गई है। इसी तरह दूसरे सवाल में पूछा गया है कि आर.डी.एस.एस. योजनान्तर्गत मऊगंज जिले में ऐसे कितने गांव हैं जहां केबिल नहीं लगाई गई। वितरण केन्द्रवार जानकारी मांगी गई है। मऊगंज जिले में कुल कितने गाँव और शहरी क्षेत्र में कितने-कितने केव्ही के ट्रांसफार्मर कब से जले हैं। जले ट्रांसफार्मर क्यों नहीं लगाए गए। जले ट्रांसफार्मर कब तक लगा दिए जायेंगे। यह भी ऊर्जा मंत्री से पूछा है।
कर्मचारियों का गुढ़ विधायक ने उठाया मुद्दा
विद्युत विभाग में सारे काम आउटसोर्स कंपनी के जरिए हो रहा है। कर्मचारियों को श्रम नियमों के तहत लाभ तक नहीं मिलता। शोषण किया जा रहा है। कर्मचारियों के हित को लेकर गुढ़ विधायक ने मुद्दा उठाया है। गुढ़ विधायक नागेन्द्र सिंह ने अतारांकित प्रश्न क्रमांक 1902 में पूछा है कि रीवा जिले के पूर्व एवं पश्चिम संचारण/संधारण संभाग में वित्तीय वर्ष 2021-22 से जनवरी 2025 तक बाह्य स्त्रोत एजेंसी के माध्यम से कितने कुशल, अर्धकुशल, एवं अकुशल श्रमिकों द्वारा कार्य किया गया। वर्षवार, श्रेणीवार, विवरण मांगी गई है। बाह्य स्त्रोत एजेंसी की नियुक्ति से सम्बंधित दिशा-निर्देशों एवं तदनुसार दस्तावेजों की जानकारी का वर्षवार विवरण , बाह्य स्त्रोत एजेंसियों द्वारा प्रदेश में लागू श्रम कानूनों एवं नियमों का पालन किया गया है? यदि हाँ तो लागू श्रम कानूनों एवं नियम अनुसार, श्रमिकों को प्रदत्त लाभ यथा न्यूनतम वेतन, समान पारिश्रमिक, बोनस, ग्रेच्युटी, पीएफ, ईएसआय इत्यादि से सम्बंधित जानकारी चाही गई है।