वैश्य महासम्मेलन के जिला सम्मेलन में नव पदाधिकारियों ने संगठन को मजबूत करने का लिया संकल्प

सिंधु भवन रीवा में वैश्य महासम्मेलन मध्य प्रदेश जिला रीवा कि जिला कार्यसमिति की बैठक हुई। इसमें रीवा जिले के नवनियुक्त जिला पदाधिकारी,कार्यसमिति सदस्य,संरक्षक,सलाहकार मंडल युवा इकाई व महिला इकाई एवं समाज के वरिष्ठ सदस्य शामिल हुए।

वैश्य महासम्मेलन के जिला सम्मेलन में नव पदाधिकारियों ने संगठन को मजबूत करने का लिया संकल्प

रीवा।  अपनी कार्य योजना के बारे में जिला अध्यक्ष नरेंद्र गुप्ता ने बताया।उन्होंने अपने वक्तव्य में कहा कि संगठन में शक्ति है यदि समाज का संगठन मजबूत होगा तो हम सब मजबूत होंगे और हमारे समाज को एक नया आयाम प्राप्त होगा एवं आयें दिन वैश्य समाज के बन्धुओं के साथ घटित हो रही घटनाओं से निजात मिलेगी। आये हुए सभी स्वजातीय बंधुओं का स्वागत बंदन अभिनन्दन किया साथ नवनियुक्त पदाधिकारियों का परिचय भी जिलाध्यक्ष नरेंद्र गुप्ता ने कराया।बिषय प्रवेश जिला प्रभारी अतुल जैन जी द्वारा किया गया उन्होंने भी अपने वक्तव्य में कहा कि हमें सभी घटकों को इकट्ठा करके वैश्य महासम्मेलन मध्य प्रदेश के बैनर के तले समाज की गतिविधियों में शामिल होना उन्होंने समाज को संगठित होने का दिया मूल मंत्र चरेवेति चरेवेति दिया। महिला इकाई की जिला प्रभारी गायत्री गुप्ता युवा इकाई के संभाग प्रभारी सुमित गुप्ता व बंशी साहू ने भी संबोधित किया। आये हुए वरिष्ठ स्वजातीय बंधुओं द्वारा भी संगठन मजबूत कैसे हो,

सभी घटकों को एक साथ लाने के लिए अपनी अपनी राय दिए। जिनमें शिवप्रसाद प्रधान,इंजीनियर के सी जैन,डॉक्टर विकास श्रीवास्तव, संजय सोनी, श्री कृष्ण गुप्ता, घनश्याम तमेर व शंकर लाल गुप्ता एवं मुख्य वक्ता प्रदेश उपाध्यक्ष वीरेन्द्र आर्य ने कहा कि समाज आज उस दोराहे पर खड़ा हैं जहां से वैश्य समाज को एक दिशा देना है वो तभी संभव है जब हम और आप सब मिलकर संगठन को तहसील स्तर तक ले कर जायें। कोई संगठन तीन बातों से चलता है ।पहला आपस में बैठें। दूसरा संगठन में जो काम कर रहे हैं। एक दूसरे पर विश्वास करें। तीसरा संस्था आर्थिक रूप से मजबूत हो। कार्यक्रम में आभार जिला महामंत्री संजय गुप्ता ने किया व मंच का सफल संचालन श्रीमती चन्द्र प्रभा गुप्ता ने किया। बैठक में उपस्थित रहे जगदीश ताम्रकार,ओमप्रकाश पंसारी,रतन लाल गुप्ता,महेंद्र सर्राफ, रावेन्द्र गुप्ता बैकुंठपुर,गणेश अग्रवाल,धनंजय सोनी,राजेश जैन,राजकुमार गुप्ता, वैभव आर्य,संजय अयोध्या गुप्ता, अतुल अग्रवाल,दिनेश जैन, राविन्द्र मोहन वैश्य,नारायण ताम्रकार,सुलेद्र गुप्ता मऊगंज,शंकर लाल गुप्ता टीकार,मनीष गहोई,राजकुमार जयसवाल,आकाश चौरसिया महांसाव,प्रेमचंद जैन,विनय साहू विजेंद्र ताम्रकार,उपदेश पंसारी,अनिल गुप्ता ,विजय गुप्ता नईगढ़ी,नारायण दास गुप्ता देवतालाब, राम बहोर राज गुप्ता देवतालाब,धर्मेंद्र गुप्ता, दयाशंकर ताम्रकार,मुकुंदलाल गुप्ता,दिनेश कुमार गुप्ता,प्रेम नाथ जयसवाल आदि सैकड़ों स्वजातीय बंधुओं थे।