रीवा और मऊगंज में धारा 144 लागू, जानिए क्या है वजह और क्या होगा असर
जिला दंडाधिकारी रीवा और मऊगंज ने 24 अप्रैल की शाम 6 बजे से 26 अप्रैल को मतदान समाप्ति की अवधि तक के लिए धारा 144 लागू कर दिया गया है। प्रतिबंध की अवधि के दौरान कोई भी व्यक्ति चुनाव से संबंधित किसी भी प्रकार की आमसभा, रैली नहीं करेगा।
कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी रीवा ने जारी किए प्रतिबंधात्मक आदेश
रीवा। लोकसभा निर्वाचन 2024 में रीवा संसदीय क्षेत्र-10 में 26 अप्रैल को मतदान कराया जाएगा। मतदान सुबह 7 बजे से शाम 6 बजे तक होगा। भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशों के अनुसार मतदान स्वतंत्र, निष्पक्ष एवं शांतिपूर्ण ढंग से कराया जाना है। निर्देशों के परिपालन में कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी रीवा प्रतिभा पाल ने रीवा संसदीय निर्वाचन क्षेत्र-10 की राजस्व सीमा क्षेत्र में शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए प्रतिबंधात्मक आदेश जारी किए हैं। यह प्रतिबंधात्मक आदेश मतदान समाप्ति से 48 घंटे पूर्व तक यानी 24 अप्रैल को शाम 6 बजे से 26 अप्रैल को मतदान समाप्ति की अवधि तक के लिए दण्ड प्रक्रिया संहिता 1973 की धारा 144 के तहत जारी किया गया है। चूंकि यह आदेश जन साधारण पर लागू है तथा परिस्थितिवश पर्याप्त समय उपलब्ध न होने के कारण जन सामान्य को इस सूचना की तामीली नहीं की जा सकती। इसलिए इसे दण्ड प्रक्रिया संहिता, 1973 की धारा 144 (2) के तहत एक पक्षीय रूप से पारित किया गया है। आदेश का उल्लंघन करने पर भारतीय दण्ड संहिता 1860 एवं लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम 1950 के सुसंगत प्रावधानों के तहत कार्यवाही की जाएगी। यह आदेश तत्काल प्रभाव से लागू हो गया है।
रैली, सभा पर रहेगा प्रतिबंध
कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी द्वारा जारी आदेश के अनुसार लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम 1951 की धारा 126 के अंतर्गत प्रतिबंध की अवधि के दौरान कोई भी व्यक्ति चुनाव से संबंधित किसी भी प्रकार की आमसभा, रैली आदि आयोजित नहीं करेगा और न ही उसमे सहभागिता करेगा। कोई भी व्यक्ति चुनाव संबंधी किसी भी प्रचार सामग्री को टेलीवीजन, रेडियो, सोशल मीडिया आदि माध्यमों से प्रसारित नहीं करेगा और न ही चुनाव प्रचार के लिए किसी भी प्रकार के संगीत, मनोरंजन अथवा अन्य प्रकार के कार्यक्रम करेगा अथवा करवाएगा। इस अवधि में द्वार-द्वार सम्पर्क पर प्रतिबंध नहीं होगा। जिला मीडिया प्रमाणन एवं अनुवीक्षण समिति (एमसीएमसी) के प्रमाणीकरण के बिना कोई भी राजनैतिक दल, उम्मीदवार, संस्था अथवा व्यक्ति पिं्रट मीडिया में किसी भी प्रकार का विज्ञापन प्रकाशित नहीं करा सकेगा। लाउड स्पीकर का उपयोग पूर्णत: प्रतिबंधित रहेगा। मतदाताओं को नगदी वितरित करना, धमकाना, उनका प्रतिरूपण तथा मतदान केन्द्र के 100 मीटर की परिधि के भीतर प्रचार अथवा सम्पर्क प्रतिबंधित रहेगा। यह निर्वाचन अपराधों की श्रेणी में आने वाला भ्रष्ट आचरण है।
बाहरी व्यक्तियों को बार्डर पार जाना होगा
जारी आदेश के अनुसार 24 अप्रैल को शाम 6 बजे के बाद राजनैतिक दलों के पदाधिकारी अथवा उम्मीदवारों द्वारा चुनाव प्रचार में संलग्न ऐसे सभी व्यक्ति जो रीवा संसदीय क्षेत्र-10 के निर्वाचक नहीं हैं वे रीवा जिला की सीमा के भीतर उपस्थित नहीं रहेंगे। प्रतिबंध की अवधि के दौरान कोई भी व्यक्ति अपने स्वयं के मतदाता परिचय पत्र के अलावा किसी अन्य व्यक्ति का मतदाता परिचय पत्र अपने पास नहीं रखेगा और न ही किसी स्थान पर एकत्रित करेगा। उम्मीदवार के चुनाव प्रचार का कार्यालय मतदान केन्द्र परिसर की 100 मीटर की परिधि में संचालित नहीं होगा और न ही ऐसे किसी स्थान के पास भीड़ एकत्रित होने की अनुमति दी जाएगी। इस परिधि में चुनाव प्रचार संबंधी बैनर एवं पोस्टर न ही लगेंगे और न ही रहेंगे। इस परिधि में उम्मीदवार अथवा राजनैतिक दल अपने अस्थाई बूथ, टेंट, कैनोपी आदि स्थापित नहीं कर सकेंगे।
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200 मीटर के भीतर स्थापित नहीं होंगे बूथ केन्द्र
जारी आदेश के अनुसार उम्मीदवारों अथवा राजनैतिक दलों द्वारा मतदाताओं को अशासकीय मतदाता पर्ची प्रदान करने के लिए बनाए गए बूथ मतदान केन्द्र की परिधि के 200 मीटर के भीतर स्थापित नहीं होंगे। इन बूथों पर एक टेबल और दो कुर्सियों के साथ 3 गुणा 1.5 फिट आकार के बैनर की ही अनुमति होगी। इसके अतिरिक्त किसी प्रकार के टेंट अथवा शामियाना के लिए अनुमति नहीं दी जाएगी। ये बूथ सहायक रिटर्निंग ऑफिसर अथवा स्थानीय निकाय की अनुमति के बिना स्थापित नहीं किए जाएंगे। बूथ का व्यय उम्मीदवार अथवा राजनैतिक दल को अपने निर्वाचन व्यय में जोडऩा आवश्यक होगा। ऐसे बूथों द्वारा वितरित पर्ची किसी उम्मीदवार अथवा दल के चिन्ह अथवा फोटो के बिना सादे सफेद कागज की होगी।
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मतदान केन्द्र के 100 मीटर परिधि में मोबाइल फोन प्रतिबंधित रहेगा
जारी आदेश के अनुसार उम्मीदवार को मतदान दिवस पर स्वयं, अपने निर्वाचन एजेण्ट और प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र हेतु अपने कार्यकर्ता अथवा दल के कार्यकर्ता के लिए प्रत्येक को एक वाहन और अधिकतम 10 वाहनों की अनुमति दी जा सकेगी। वाहनों की अनुमति प्राप्त करने के लिए भारत निर्वाचन आयोग द्वारा निर्धारित प्रक्रिया अपनाना आवश्यक होगा। उम्मीदवार या एजेण्ट अथवा व्यक्ति द्वारा उम्मीदवार अथवा एजेण्ट की सहमति से अथवा कहने पर मतदाताओं के नि:शुल्क परिवहन के लिए किसी प्रकार के वाहनों को नहीं लगाया जाएगा। मतदाताओं को परिवहन करने पर लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम 1950 की धारा 123 (5) व 133 के अन्तर्गत दण्डनीय होगा। कोई भी व्यक्ति मतदान केन्द्र के 100 मीटर की परिधि के भीतर मोबाइल अथवा कार्डलेस फोन का उपयोग नहीं करेगा। यह प्रतिबंध निर्वाचन दायित्व में संलग्न किसी अधिकारी पर लागू नहीं होगा।