पार्टी छोड़ने की होड़ मची है, जिला अध्यक्ष ने छोड़ा कांग्रेस का साथ और जानिए किसने किस पार्टी को किया बाय-बाय
लोकसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी ने सदस्यता अभियान क्या चलाया पार्टियों में हड़कंप मच गया है। कांग्रेस से टूटकर कई नेता विधायक, पूर्व विधायक, भाजपा में शामिल हो रहे हैं। यह दौर थम ही नहीं रहा है। सिर्फ कांग्रेस ही नहीं देश की कई और पार्टियों से भी नेता टूट कर भाजपा में जुड़ रहे हैं। दिल्ली के आम आदमी पार्टी के एक मंत्री ने भी पार्टी से इस्तीफा दे दिया। सागर से कांग्रेस के एक पूर्व विधायक ने हाथ का साथ छोड़ दिया है । डिप्टी कलेक्टर का पद छोड़कर कांग्रेस में शामिल होने वाली कांग्रेस प्रवक्ता ने पार्टी पर वादा खिलाफी का आरोप लगाया है। वह भी कांग्रेस को जल्दी टाटा बाय बाय करने वाली है। रतलाम कांग्रेस जिला अध्यक्ष अपने समर्थकों के साथ भाजपा ज्वाइन कर लिए हैं।
कांग्रेस जिला अध्यक्ष ने अपने समर्थकों के साथ थामा BJP का दामन
रतलाम जिला कांग्रेस अध्यक्ष ने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा देते हुए पार्टी नेताओं और संगठन पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि जिला कांग्रेस का कोई महत्व ही नहीं रह गया है। सब तरफ से उपेक्षा के शिकार होकर मन व्यथित हो गया है। उन्होंने अपने इस्तीफे में कहा कि पार्टी में इमानदार लोगों की जरुरत नहीं है। । जिला कांग्रेस के अध्यक्ष रहे कैलाश पटेल ने सीधा आरोप प्रदेश संगठन पर लगाते हुए कहा कि कांग्रेस पार्टी में प्रदेश में ठेका पद्धति चल रही है। पार्टी नेता अपनी ही पार्टी के नेता और कार्यकर्ता को कोई तवज्जो नहीं दे रहे हैं। ऐसे में पार्टी में इमानदार नेताओं का रहना उचित नहीं है।
सागर में कांग्रेस से सुरखी की पूर्व विधायक पारुल साहू ने पार्टी से दिया इस्तीफा
मध्य प्रदेश के सागर जिले की सुरखी सीट से विधायक रहीं पारुल साहू ने कांग्रेस छोड़ दी है, उन्होंने प्रदेश अध्यक्ष का इस्तीफा भेज दिया है।
*कांग्रेस ने मेरे साथ वादा खिलाफी की - निशा बांगरे, मुख्य प्रवक्ता कांग्रेस*
डिप्टी कलेक्टर के पद से इस्तीफा देकर राजनीति में उतरीं निशा बांगरे का राजनीति से मोहभंग होता दिख रहा है। उन्होंने फिर से नौकरी में जाने की इच्छा जताई है। निशा बांगरे ने बताया कि कांग्रेस ने पहले उन्हें विधानसभा टिकट देने का वादा किया था वह पूरा नहीं किया। इसके बाद लोकसभा में भी टिकट नहीं दी। कांग्रेस ने उनके साथ वादाखिलाफी की है। डिप्टी कलेक्टर के पद से इस्तीफा देने वाली ब्यूरोक्रेट निशा बांगरे अगले 3-4 दिनों में कांग्रेस छोड़ किसी राष्ट्रीय पार्टी में शामिल हो सकती हैं।